सोमवार, 2 अप्रैल 2012

आनाज की जमीन (खेती) को ख़त्म किया जा रहा है...चाँद रुपयों की लालच में देश को एक गहरी खाई की तरफ लेजा रहे है

आनाज की जमीन (खेती) को ख़त्म किया जा रहा है और उस पर कॉलेज एंड हॉस्पिटल बनाकर  उनके आसपास १०किलो मीटर तक की सारी जमीन में माकन,प्लाट,आपार्टमेंट ५ मंजिलो बाले बना  बाना कर बेचे जा रहे है कुछ दिनों में पुरे जबलपुर शहर के चारो और खेत दिखाई देते थे अब बहा पर बैंक या जबरन भूमि माफिया ने कब्जा कर लिया है इसमें वकील, नेता, सरकारी आधिकारी और बैंक फिनानेंस भी उपलब्ध है नगर निगम की मिली भगत भी सामिल है दो वार निगम के दस्तावेज जल गए थे और आज नए सिरे से कंप्यूटर डाटा मनचाहा फीड किया जा रहा है geografical map change कर दिया  है 10year से यह सब कुछ पहले नहीं था जबसे दो सरकारे १०-१० साल के लिए आई तबसे ना जाने किसके पास इतनी रुपया आगया और कैसे ये सारी जमीन जो खेती की थी ख़त्म होने लगी इन १० सालो में भ्रस्ताचार चरम पर है यह एक शहर है जिसमे 30 से अधिक नए कॉलेज खुल गए है और भी बनते जा रहे है जा रहे है जिनमे इंजीनिरिंग मेडिकल के निजी कॉलेज सामिल है इन्हे फंडिंग कहा से हुई है। आब यदि पार्टियों की सत्ता चलिभी जाये तो भी राज सही ख़त्म नहीं होगी क्यों की यह सब व्यापार तो उनका खुल गया जिनके पास पावर थी और आज भी है एक गरीब ईमानदार के लिए ही कानून है यह हमारे भारत में आम बात होती जा रही है कानून विद भी कुछ नहीं कर सकते क्योकि यह सब कानून को जान्ने और समझाने बाले ही चाँद रुपयों की लालच में देश को एक गहरी खाई की तरफ लेजा रहे है




सब का मालिक एक है, हर जीव की मौत निश्चित है, कोशिश है की हम एक आजाद देश में आजादी से रह कर अपना सुखी पूर्वक जीवन बिताये. अपने समाज की कुरीतियों को दूर करे, इंसानियत समझे.